प्रयागराज, 21 अप्रैल . इलाहाबाद हाईकोर्ट ने झांसी के जिलाधिकारी को लेखपाल पद पर कार्यरत भूतपूर्व सैनिक याचियों की सेना में की गई सेवा को जोड़कर वेतन निर्धारण के मामले में निर्णय लेने का निर्देश दिया है.
यह आदेश न्यायमूर्ति अजित कुमार ने जय सिंह यादव व अन्य की याचिका पर उनके अधिवक्ता ओम प्रकाश सिंह को सुनकर दिया है. याचियों की ओर से कहा गया कि सिविल सर्विस रेग्युलेशन के प्रस्तर 422 एवं 526 में स्पष्ट प्रावधान है कि भूतपूर्व सैनिकों की सेना में की गई सेवा को वर्तमान सेवा में जोड़ा जाएगा और उनका वेतन सेवा से सेवानिवृत्ति की तिथि को आहरित अंतिम मूल वेतन के आधार पर निर्धारित किया जाएगा.
याची भारतीय सेना व नौ सेना में 15 वर्ष से अधिक सेवा के बाद सेवानिवृत्त हुए थे. याचियों की नियुक्ति झांसी के राजस्व विभाग में लेखपाल पद पर भूतपूर्व सैनिक कोटे में वर्ष 2016 में हुई थी. कहा गया कि याचियों की सेना में की गई सेवा को वर्तमान सेवा में नहीं जोड़ा जा रहा है. एडवोकेट का कहना था कि 26 अगस्त 1977, 26 मार्च 1980, 22 मार्च 1991, सात नवम्बर 2014, 17 जून 2021 के शासनादेशों में पूर्व की सेवाओं को जोड़े जाने का स्पष्ट प्रावधान है. ऐसे में याचियों की पूर्व की सेवा भी वर्तमान सेवा में जोड़कर उनका वेतन निर्धारित किया जाना चाहिए.
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/ रामानंद पांडे
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