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निधि नारंग जबरदस्ती निजीकरण प्रक्रिया बढ़ाने में लगे

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लखनऊ, 08 मई . उत्तर प्रदेश विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के आह्वान पर दो मई से प्रारंभ हुआ क्रमिक अनशन का कार्यक्रम गुरुवार को सातवें दिन भी जारी रहा. समिति के संयोजक शैलेन्द्र दुबे ने बताया कि विस्तारित कार्यकाल पूरा होने के बावजूद निधि नारंग जबरदस्ती निदेशक वित्त के कमरे में बैठकर निजीकरण की प्रक्रिया को आगे बढ़ाया जा रहा है. निधि नारंग पर एफआईआर दर्ज करने की संघर्ष समिति मांग करती है.

संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने निधि नारंग पर आरोप लगाया कि निधि नारंग अवैध ढंग से नियुक्त किए गए ट्रांजैक्शन कंसलटेंट का झूठा शपथ पत्र देने का मामला दबाए हुए हैं और पॉवर कारपोरेशन के चेयरमैन के साथ मिलकर कंसल्टेंट ग्रांट थॉर्टन की फर्जीवाड़ा की फाइल ठंडे बस्ते में डालने में लगे हैं.

संघर्ष समिति ने कहा कि कार्यकाल पूरा हो जाने के बाद निदेशक वित्त के कमरे में बैठकर फाइलें देखना और समस्त गोपनीय दस्तावेज ट्रांजैक्शन कंसलटेंट ग्रांट थॉर्टन को ट्रांसफर करना बहुत ही गंभीर घटना है. उन्हाेंने कहा कि बिजली के निजीकरण के पीछे इतना बड़ा घोटाला और भ्रष्टाचार हो रहा है और आश्चर्य की बात है कि प्रदेश के विद्युत मंत्री अरविंद कुमार शर्मा चुप्पी साधे बैठे हैं.

संघर्ष समिति ने निजीकरण की सारी प्रक्रिया तुरंत रद्द करने की मांग की है और कहा है कि अवैध ढंग से निदेशक वित्त के कमरे में बैठकर दस्तावेज देखने और कंसल्टेंट को दस्तावेज ट्रांसफर करने के अपराध में निधि नारंग पर तत्काल एफ आई आर दर्ज की जाए.

ज्ञातव्य हो कि निजीकरण के विरोध में आज लगातार सातवें दिन शक्ति भवन मुख्यालय पर क्रमिक अनशन जारी रहा. आज क्रमिक अनशन में दो सौ से अधिक बिजली कर्मचारी और अभियंता सम्मिलित हुए. क्रमिक अनशन में आज सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, मेरठ, बुलंदशहर, गाजियाबाद, नोएडा, गजरौला और मुरादाबाद क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले जनपदों तथा लखनऊ नगर के बिजली कर्मचारी और अभियंता सम्मिलित हुए.

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/ श.चन्द्र

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